Source :- BBC INDIA
आपकी फ़िटनेस और सेहत का चाहे जो भी स्तर हो इसे बेहतर करने के लिए चुकंदर सर्वोत्तम उपाय हो सकता है.
ये कंदमूल न केवल आपकी मजबूती में सुधार कर सकता है बल्कि आपको तेज़ी से दौड़ने में भी मदद कर करता है.
साथ ही इसके कई और फ़ायदे हैं, जैसे- यह बढ़ती उम्र में ब्लड प्रेशर को नियंत्रित रखते हुए आपके मस्तिष्क को स्वस्थ रखने में भी मददगार होता है.
प्राचीन ग्रीस के समय से ही यह पता है कि ये हमारे शरीर के लिए अच्छा है.
लेकिन अब इसके नए सबूत सामने आने लगे हैं जो इसके असाधारण लाभ को उजागर करने लगे हैं और यही वो कारण है कि इसे हमें अपने नियमित आहार में शामिल करना चाहिए.
चलिए जानते हैं उन पांच सबसे असरकारक वजहों को जो चुकंदर के बड़े फ़ायदे को बताते हैं.
1. बीटालेंस की एंटीऑक्सीडेंट ताक़त
चुकंदर को बीटालेंस कहा जाने वाला प्राकृतिक पिगमेंट एक गहरा मजबूत रंग देता हैं, यह इसे एंटीऑक्सीडेंट बनने की बड़ी ताक़त प्रदान करता है.
इटली में कुछ साल पहले किए गए शोध में पता चला कि चुकंदर कोलन कैंसर की कोशिकाओं को नष्ट करने में सक्षम है.
लेकिन केवल बीटालेंस ही इसकी जादुई ताक़त नहीं है.
हालांकि बड़ी मात्रा में नाइट्रेट का सेवन अच्छा नहीं होता पर जब चुकंदर जैसी सब्जियों में प्राकृतिक रूप से पाए जाने वाले नाइट्रेट को खाते हैं तो यह स्वास्थ्यवर्धक होता है.
चुकंदर की खूबी है कि यह नाइट्रेट्स से भरपूर होता है. जब हम चुकंदर खाते हैं तो हमारे मुंह में रहने वाले बैक्टीरिया नाइट्रेट को नाइट्रिक ऑक्साइड में बदलना शुरू कर देते हैं, यह वो शक्तिशाली तत्व है जो हमारे शरीर पर कई लाभदायक प्रभाव डालता है.
ब्रिटेन के एक्सेटर यूनिवर्सिटी में अप्लाइड फ़िज़ियोलॉजी के प्रोफ़ेसर एंडी जोन्स एथलिटों के प्रदर्शन पर 10 वर्षों तक शोध कर चुके हैं. वे बताते हैं, “नाइट्रिक ऑक्साइड वैसोडिटेलटर है. यह ख़ून की नली को चौड़ी करता है. इससे ख़ून आसानी से बह पाता है. यह शरीर की कोशिकाओं में समुचित आक्सीजन को पहुंचाने का काम करता है.”
कामोत्तेजना के लिए भी नाइट्रिक ऑक्साइड का पर्याप्त स्तर आवश्यक है और रोमन लोग के चुकंदर के रस को इस्तेमाल किए जाने को इससे जोड़ कर देखा जाता है. हालांकि अब तक किसी शोध ने ऐसा नहीं बताया कि चुकंदर के रस का प्रभाव वियाग्रा के समान होता है.
2. हार्ट और ब्लड प्रेशर पर असर
चुकंदर के रस का अगर रोज़ सेवन किया जाए तो ब्लड प्रेशर पर इसका असर देखने को मिल सकता है.
एक शोध से पता चला कि कुछ हफ़्ते तक अगर दिन में दो चुकंदर खाया जाए तो ब्लड प्रेशर में औसतन पांच मिलीमीटर तक गिरावट आ सकती है.
जोन्ह कहते हैं, “चुकंदर खाने से ब्लड प्रेशर निश्चित रूप से नीचे चला जाता है. सिस्टोलिक ब्लड प्रेशर (ब्लड प्रेशर में ऊपर दिखने वाली रीडिंग) के मामले में यह तीन से नौ मिलीमीटर तक भी नीचे जा सकता है.”
वे कहते हैं कि अगर यह गिरावट बरकरार रहती है तो स्ट्रोक, हार्ट अटैक पड़ने के जोखिम को 10 फ़ीसद तक कम करने के लिए पर्याप्त है.
जानकारों का कहना है कि, “अगर इस तरह का बदलाव पूरी आबादी में होता है तो स्ट्रोक, हार्ट अटैक जैसी घटनाओं में काफी कमी आएगी.”
शोध से यह भी पता चला है कि चुकंदर खाने के कुछ घंटे बाद ही ब्लड प्रेशर पर असर देखने को मिल सकता है.
3. मस्तिष्क के लिए सर्वोत्तम आहारों में से एक
चुकंदर हमारे मस्तिष्क में रक्त प्रवाह को बढ़ाने में भी मददगार हो सकता है.
एक शोध में पाया गया कि अगर हम व्यायाम करने के साथ-साथ चुकंदर के रस का सेवन करें तो मस्तिष्क के उस हिस्से में कनेक्टिविटी बढ़ सकती है जो हमारे शरीर के हिलने डुलने को नियंत्रित करती हैं. ऐसा करने से मस्तिष्क का वो हिस्सा युवा वयस्कों की तरह हो सकता है.
दूसरे शब्दों में कहें तो चुकंदर का रस आपके मस्तिष्क को युवा बनाए रखने में मदद कर सकता है.
तो आखिर ऐसा होता क्यों है? फिर, शायद यह बेहतर ब्लड प्रेशर के कारण है.
शोध के मुताबिक़ चुकंदर के रस को पीने से प्रीफ्रंटल कोर्टेक्स (सबसे विकसित मस्तिष्क क्षेत्र) में ख़ून का संचार बढ़ता है जिससे मस्तिष्क की क्षमता बढ़ती है.
4. मुंह के अंदर माइक्रोबायोम का संतुलन बढ़ना
शोध के मुताबिक़ चुकंदर के रस का अगर दिन में दो बार 10 दिनों तक सेवन किया जाए तो आपके मुंह के अंदर की बैक्टीरिया का संतुलन बेहतरीन हो सकता है.
आश्चर्यजनक रूप से शोध में शामिल जो लोग इस प्रक्रिया में शामिल थे उनमें बैक्टीरिया के संतुलन में बदलाव देखने को मिला.
यह उन बैक्टीरिया के स्तर को कम करने में मददगार साबित हुआ जिनकी वजह से बीमारियां और सूजन हुए थे.
5. शारीरिक क्षमता भी बेहतर
जोन्स कहते हैं, “इसकी संभावना देखने को मिली है कि नाइट्रिक ऑक्साइड के असर से मांसपेशियों को ऑक्सीजन की मात्रा अधिक मिलती है और इससे आपका शरीर बेहतर काम करता है.”
2009 के एक शोध में पाया गया कि जिन एथलीट ने चुकंदर का रस पिया उन्हें व्यायाम के दौरान अपनी शारीरिक सहनशक्ति को 16 फ़ीसद तक अधिक बढ़ाने में मदद मिली.
शोध के मुताबिक नाइट्रिक ऑक्साइड व्यायाम के दौरान ऑक्सीजन की खपत को भी कम करने में मदद करता है जिससे थकावट की दर धीमी हो जाती है.
एथेलेटिक्स के नज़रिए से देखें तो यह एक बड़ी सफलता थी. 2012 में हुए लंदन ओलंपिक और पैरालंपिक खेलों से पहले लंदन में चुकंदर का जूस आसानी से नहीं मिल रहा था क्योंकि क़रीब सभी एथलीट इसकी तलाश में थे.
कितनी देर पहले खाएं कि शरीर पर असर दिखे
2012 में हुए एक शोध में शामिल जिन लोगों ने चुकंदर खाया था वो पांच हज़ार मीटर की दौड़ के अंतिम 1.8 किलोमीटर के दौरान उन लोगों की तुलना में 5 फ़ीसद अधिक तेज़ दौड़े जिन्होंने चुकंदर नहीं खाया था.
तो अगर खेल के प्रदर्शन में सुधार करना उद्देश्य हो तो ऐसे किसी भी आयोजन के शुरू होने से कितनी देर पहले चुकंदर खाया जाना चाहिए.
इस सवाल के जवाब में जोन्स कहते हैं, “लगभग दो से तीन घंटे पहले क्योंकि नाइट्रेट को ख़ून में घुलने में थोड़ा समय लगता है.”
चुकंदर के गुण नष्ट न हों इसके लिए क्या करें?
जोन्स एक और सलाह देते हैं कि चुकंदर को पकाते समय सावधानी बरतें और इसे उबाले गए पानी को न फेंकें क्योंकि नाइट्रेट पानी में घुलनशील होते हैं.
तो अगर पानी को फेंक दिए तो अधिकांश नाइट्रेट को खो देंगे और उसका लाभ नहीं मिल पाएगा.
तो अगर चुकंदर का अधिकतम स्वास्थ्य लाभ लेना चाहते हैं तो इसे कच्चा खाएं या भून कर खाएं या इसका जूस पीएं तो सबसे बेहतर.
SOURCE : BBC NEWS